The central government decided punishment of hanging for the rape of the girls
POCSO एक्ट में बदलाव, सरकार इसके लिए अध्यादेश लेकर आएगी
इंडिया न्यूज सेंटर,नई दिल्लीः : कैबिनेट ने 12 वर्ष तक की उम्र की बच्चियों से बलात्कार के मामलों में दोषी को मौत की सजा सुनिश्चित करने के लिए अध्यादेश को मंजूरी दे दी है। हालांकि सरकार की ओर से अभी औपचारिक घोषणा नहीं की गई है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आवास पर चली ढाई घंटे की कैबिनेट मीटिंग के बाद पॉक्सो एक्ट में बदलाव का फैसला लिया गया है। सरकार इसके लिए अध्यादेश लेकर आएगी। केंद्र सरकार के इस फैसले का यूपी सरकार ने स्वागत करते हुए सीएम योगी आदित्यनाथ ने भी नाबालिक से बलात्कारी को फांसी की सजा देने की पैरवी की है।
दुष्कर्म के दोषी को मौत की सजा
प्रस्ताव के अनुसार 12 साल तक बच्ची के साथ दुष्कर्म के दोषी को भी मौत की सजा सुनाई जाएगी। पॉक्सो कानून के प्रावधानों के अनुसार इस जघन्य अपराध के लिए अधिकतम सजा उम्रकैद है। न्यूनतम सजा 7 साल की जेल है। सरकार ने शुक्रवार को उच्चतम न्यायालय में सूचित किया कि वह दंडनीय कानून में संशोधन कर 12 साल या उससे छोटी उम्र की बच्चियों के साथ यौन अपराध के दोषियों को मौत की सजा के प्रावधान को शामिल करने पर विचार कर रही है। वहीं, कठुआ और उन्नाव गैंग रेप कांडों के बाद महिला एवं बाल विकास मंत्री मेनका गांधी जांच बाधित करने वाले पुलिसवालों पर सख्त नजर आ रही है। उन्होंने साफ कहा है कि महिलाओं और बच्चों के खिलाफ अपराध के मामलों में जांच को बाधित करने वालों या ऐसे अपराधों को अंजाम देने वालों के साथ सांठगांठ करने वाले पुलिस अधिकारियों पर राज्य सरकार सख्त कार्रवाई करें। इसके साथ ही केंद्रीय मंत्री ने इस तरह के मामलों की जांच निश्चित समय सीमा में पूरी करने की भी अपील की है। मेनका ने यौन अपराधों या बच्चों से यौन अपराधों से निपटने के लिए विशेष प्रकोष्ठ का गठन करने का भी सुझाव दिया है। उन्होंने राज्यों से यौन अपराधों के विभिन्न पहलुओं पर, खासतौर पर सबूत एकत्र करने और उनके संरक्षण से जुड़े पहलुओं पर अपनी-अपनी पुलिस को फिर से प्रशिक्षित करने का भी निर्देश दिया है।